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Saturday, March 9, 2024

MAHAJAN VAISHYA OF PUNJAB HIMACHAL JAMMU

#MAHAJAN VAISHYA OF PUNJAB HIMACHAL JAMMU

पंजाब के महाजन वैश्यों के संगठन : जम्मू एवं हिमाचल क्षेत्र में कार्यरत इस संगठन की स्थापना सन् १८९२ में स्व० लाला हंसराज जी एडवोकेट जम्मू ने की थी। सन् १९६६ में लुधियाना में एक कांफ्रेन्स हुई। वहां ३७ उप-प्रधान तथा ५ क्षेत्रों (दिल्ली, यू०पी०, पंजाब, हिमाचल और जम्मू) से लगभग १७ क्षेत्रीय मंत्रियों का प्राविधान किया गया था। इनकी दो पत्रिकायें : १. महाजन समाचार और २. महाजन शिरोमणि सभा नाम से निकलती है। इनके सम्पादक क्रमश: है : श्री राम चन्द्र महाजन मं० न. २९, जंगपुरा विस्तार : दिल्ली-१४ एवं मास्टर सांझी राम, बी.ए.।.

अक्टूबर सन् ६७ में हुई दिल्ली के इनके ४७ वें वार्षिकोत्सव में कुमारी सुदेश महाजन ने स्वागत गान में एक कविता पढ़ी जिसके दो दोहे यों हैं :

भामेशाह बांगू चिन्ह जापदे ने,
प्रताप बाग खतरा तेरे इमान तू नही राणे बाग एहदा प्रताप दिसे,
हर ख्याल एहदां ऊँची शान चला

(यहाँ भामाशाह का उल्लेख है) 

पंजाब हिमाचल जम्मू के महाजन बन्धु वहां के खत्रियों से पृथक हैं और आगे गुप्ता लगाते हैं।

महाजन जाति का इतिहास लाला देवी चन्द जी सथोई वर्तमान जवाली कांगड़ा ने तैयार किया है। एक महाजन डायरेक्ट्री भी तैयार की गई है। एक प्रान्तीय सम्मेलन १९६६ में चम्बा जिला कांगड़ा में हुआ था। लगभग १५० स्थानीय संस्थायें शिरोमणि सभा से सम्बन्धित है। जिनके मुख्य स्थान निम्न प्रकार है :

१. शिमला २. मण्डी ३. गौहर ४. पागणाँ ५. करसोग जिला मण्डी ६. तत्तापानी ७. सोना मण्डी ८. आर की जिला महासू ९. बिलासपुर १०. सुन्दर नगर मण्डी ११. धनोन महासू १२. धन्नापटी हिमाचल १३. श्री महासू १४. धियारगी मण्डी १५. सघोट मण्डी १६. रवालसर मण्डी १७. थौना मण्डी १८. रामशहर १९. अलसडी शिमला २०. नालागढ़ शिमला २१. पट्टी महासू २२. सूरिज पखवाड़ा मण्डी २३. ज्योट मण्डी २४. भाम्भला २५. जनपद सभा मण्डी ।

सभा विद्यार्थियों और छोटे व्यापारियों दोनों को ऋण देती है । वृद्ध पुरुषों तथा विधवाओं को भी सहायता दी जाती है। जम्मू, अमृतसर, अखनूर, कृष्णनगर, दिल्ली और पठानकोट में इस सभा के महाजन भवन है।

विशिष्ट पुरुष :

१. श्री मेहर चन्द जी महाजन : संयुक्त भारत में लाहौर हाई कोर्ट के जज थे। सन् १९४७ में जम्मू कश्मीर स्टेट के प्रधानमंत्री बने । काश्मीर राज्य का भारत में विलयन कराने में उनका मुख्य हाथ था। स्वतन्त्र भारत में पहले जज फिर सुप्रीम कोर्ट के मुख्य न्यायधीश होकर रिटायर्ड हुये।

आर्य समाज जगत में प्रादेशिक आर्य प्रतिनिधि सभा, पंजाब डी.ए.वी. कालेज, मैनेजिंग कमेटी और टंकारा के ऋषि निर्माण ट्रस्ट के वे बरसों प्रधान रहे।

२. श्री राम चन्द्र महाजन : आर्य समाज के शुद्धि आन्दोलन में उनका बलिदान हुआ था।

३. श्री विक्रम महाजन : जस्टिस मेहरचन्द महाजन के सुपुत्र । पहले जज और १९८२ में केन्द्रीय सरकार में ऊर्जा राज्य मंत्री रहे ।

४. बलिदानी गौरव महाजन उधमपुर 

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